Friday, December 27, 2024
उत्तराखंड

राजकीय संयुक्त उप जिला चिकित्सालय श्रीनगर, पौड़ी गढ़वाल में तैनात हैं डॉ सचिन चौबे, कई मरीजों को दे चुके हैं नया जीवन

श्रीनगर: पर्वतीय जिलों में डाक्टरों की कमी के चलते अक्सर मरीजों को देहरादून या हल्द्वानी इलाज के लिए आना पड़ता है लेकिन कुछ पर्वतीय अस्पतालों में तैनात कुछ डाक्टर अब यहां के मरीजों के लिए देवदूत बन गये हैं। ऐसे ही एक स्पेष्यिलिस्ट हैं डा. सचिन चौबे। डा. सचिन चौबे राजकीय संयुक्त उप जिला चिकित्सालय श्रीनगर में तैनात हैं। वह पर्वतीय मरीजों के लिए उम्मीद की एक किरण बने हुए हैं। हाल में उन्होंने एक 22 साल की युवती का इलाज अत्याधुनिक तरीके से किया।

युवती के पैर की हड्डी टूटी, दो दिन में ही वाकर के सहारे चलने लगी युवती

आपको बता दें कि ग्राम डांग, श्रीनगर रहवासी 22 वर्षीय लड़की का दोपहिया वाहन चलाते समय फिसलने के कारण दाहिने पैर की हड्डी में फ्रैक्चर हो गया था। पैर में खुला घाव भी था, जिसके कारण शुरुआत में प्लास्टर लगाकर इलाज किया। घाव सूखने के बाद आयुष्मान योजना के तहत निःशुल्क ऑपरेशन (हड्डी के अंदर रॉड डालना) किया गया। ऑपरेशन के बाद मरीज की हालत बिलकुल सामान्य है और 2 दिन बाद से ही मरीज को वॉकर के सहारे चला दिया गया है। इस ऑपरेशन से मरीज जल्दी ही अपने दैनिक कार्य करना शुरू कर सकती है।

बता दें डॉक्टर सचिन चौबे ने एम्स ऋषिकेश से अस्थि रोग विशेषज्ञ की पढ़ाई करने के बाद अक्टूबर महीने से संयुक्त चिकित्सालय में अपनी सेवाएं दे रहे हैं। इसके पूर्व वह केदारनाथ ब्लॉक, जिला रुद्रप्रयाग में 6 वर्ष बतौर प्रभारी चिकित्सा अधिकारी अपनी सेवाएं प्रदान कर चुके हैं।

स्वास्थ्य मंत्री ने किया औचक निरीक्षण

स्वास्थ्य मंत्री डा. धन सिंह रावत ने आज श्रीनगर स्थित राजकीय संयुक्त उप जिला चिकित्सालय और बेस अस्पताल का जायजा लिया। उन्होंने अस्पताल में सुविधाओं और संसाधनों का जायजा लिया। इस दौरान अस्पताल में भर्ती मरीजों से भी बात की। उन्होंने दोनों अस्पतालों में मौजूद स्टाफ और सुविधाओं पर संतोष जताया।

स्वास्थ्य मंत्री ने डा. सचिन चौबे सहित अन्य डॉक्टरों व मेडिकल स्टॉफ की कार्यशैली की तारीफ की। उन्होंने कहा श्रीनगर स्थित राजकीय संयुक्त उप जिला चिकित्सालय और बेस अस्पताल में तैनात डॉक्टरों की कार्यषैली के कारण अब मरीजों को इलाज के देहरादून जाने की जरूरत नहीं पड़ रही है। आयुष्मान योजना मरीजों के लिए वरदान साबित हो रही है। हजारों लोग इस योजना का लाभ उठाकर पूर्णतः स्वस्थ हो चुके हैं। उन्होंने कहा कि प्रदेष सरकार पर्वतीय जिलों में डाक्टरों और स्टाफ की कमी को दूर कर रही है। इसके अलावा संसाधन भी बढ़ा रही है।